गंदे पोस्टकार्ड - अविनाश मिश्र
गंदे पोस्टकार्डअविनाश मिश्रमेरी एकांतप्रियता का जन्म तब हुआ जब लोगों ने मेरी वाचाल त्रुटियों की प्रशंसा प्रारंभ की और मूक गुणों की निंदा...—खलील जिब्रान***हिंसा व्यवहार में अन्याय के प्रतिकार में चली...
View Articleअमेरिकी अश्वेत युवकों का प्रतिरोध गीत - अनुवाद एवं प्रस्त़ति : यादवेन्द्र
द पीस पोएट्स के ल्यूक नेफ्यूका यह प्रतिरोध गीत पिछले कई महीनों से अमेरिका के अश्वेत बहुल इलाकों में आजकल अक्सर सुनायी देता है …फ़ेसबुक ,ट्विटर और इंटरनेट आधारित अन्य जन संवाद माध्यमों में इसकी धूम मची...
View Articleइमरजेंसी : एक पारंपरिक रूपक - प्रस्तुति : विकासनारायण राय
राजा बोला रात हैरानी बोली रात हैमंत्री बोला रात हैसंत्री बोला रात है यह सुबह-सुबह की बात है
View Articleहिंदी कविता : ऊर्जा के नए स्त्रोत - महाभूत चन्दन राय / तीन नए कवि : प्रदीप...
महाभूत चन्दन राय द्वारा फेसबुक पर लगाई जा रही इन कविताओं पर निगाह पड़ते ही ठहर गई। मैंने उनसे अनुनाद के लिए इन्हें मांगा और और उन्होंने मेरे अनुरोध का मान रखा। इस चयन और टिप्पणी के लिए शुक्रिया साथी,...
View Articleअमेरिकी अश्वेत युवकों का प्रतिरोध गीत :2 / भावानुवाद एवं प्रस्तुति - यादवेन्द्र
अगस्त 2014 के पूर्वार्ध में सेंट लुइस के अश्वेत बहुल फर्गुसन में 18 वर्षीय अश्वेत नौजवान माइकेल ब्राउनकी एक गोरे पुलिस ऑफिसर डेरेन विल्सन ने दिन दहाड़े गोली मार कर हत्या कर दी और आरोप लगाया कि वह उसकी...
View Articleक्या तुम मेरे ऊपर व्यंग्य कर रहे हो? नहीं मैं तुम्हें गाली दे रहा हूं : पंकज...
हमारे वक़्त के ये यक्ष-युधिष्ठिर संवाद, जिन्हें इन्हीं में से चुराकर मैंने ऊपर एक शीर्षक दे दिया है।यक्ष पूछता है - क्या तुम मेरे ऊपर व्यंग्य कर रहे हो... युधिष्ठिर जवाब देता है - नहीं मैं तुम्हें...
View Articleराजीव ध्यानी की कविताएँ
राजीव ध्यानी की कविताएँ मैंने पहली ही बार फेसबुक पर देखीं। मालूम हुआ कि 1995 में उनका संग्रह अकसर कागज़ नाम से आया था। इन कविताओं ने मेरा ध्यान खींचा। अपने निजी भूगोल और परिवेश लेकर एक भरपूरे विस्तार...
View Articleकविता: कवि-तान: कविता- न !: क-वितान - समकालीन प्रहसन का लेखा : अमित श्रीवास्तव
'कविता लिखने के लिए कवि होना ज़रूरी नहीं। ’ ये ब्रह्म वाक्य मुझे एक ‘कविता: कल, आज, कल और परसों’ नामक भ्रामक गोष्ठी के दौरान मिला। भ्रामक इसलिए क्योंकि मैं इसके निमंत्रण पत्र/ सूचना को मोटापा कम करने...
View Articleसोनी पांडेय की कविताएं
सोनी पांडेय की कविताएं मुखर स्त्री विमर्श के बरअक्स एक सामान्य घरेलू स्त्री के घर-दुआर की कविताएं हैं। मुक्ति का स्वप्न यहां अंतर्धारा की तरह बहता है, ऊपरी वाचाल लहरों की तुलना में वह उस गहराई में रहता...
View Articleअक्षत सेठ की कविता : प्रस्तुति - अशोक कुमार पांडेय
जिस दौर में कवि होने को एक तमगे की तरह इस्तेमाल कर लोग किसी भी तरह खुद को स्थापित करने की होड़ में हैं आश्चर्य होता है जब आपके बीच लम्बे समय से सक्रिय किसी मित्र के कवि होने की ख़बर वर्षों बाद मिले....
View Articleअरुण देव की कविताएं
अरुण लेखन की शुरूआत से ही मुझे हमेशा अपनी कविताओं में बांधते रहे हैं, पर उनकी कविताओं ने इधर एक अलग स्वर पा लिया है। यह स्वर मुखर और उतनी ही प्रतिबद्ध वैचारिकता का है। उन्होंने अपनी भाषा में रूपकों और...
View Articleअमेरिकी अश्वेत युवकों का प्रतिरोध गीत /3 - प्रस्तुति : यादवेन्द्र
फ्रेडी ग्रेअमेरिका के मेरीलैंड राज्य के बाल्टीमोर में 12 अप्रैल 2015 को गैरकानूनी तौर पर ऑटोमेटिक चाकू रखने के आरोप में एक 25 वर्षीय अश्वेत युवक फ्रेडी ग्रेको पुलिस पकड़ती है और गाड़ी में थाने ले जाते...
View Articleग़ालिब की शाइरी पर नीलाभ की टिप्पणी
सौ पुश्त से है पेश:-ए-आबा सिपहगरीकुछ शाइरी ज़रीय:-इज़्ज़त नहीं मुझेग़ालिब के दीवान को उलटते-पलटते हुए मुझे एक बात महसूस होती रही है कि वे कभी दूसरे शाइरों की तरहसाहित्य को अपना मक़सद नहीं बताते. बार-बार वे...
View Articleसंतोष कुमार चतुर्वेदी की नयी कविताएँ
संतोष कुमार चतुर्वेदी की नयी कविताएँ, अनुनाद के पाठकों के लिए। हां, इनमें सांसद/विधायक सीट वाली कविता इससे पहले पहल में छप चुकी है और सराही भी गई है। ज़्यादातर पाठक जानते हैं कि संतोष अनहदनाम से एक...
View Articleसुशील कुमार शैली की कविताएं
मैं कविता के तो नहीं पर उम्र के उस पड़ाव पर हूं, जहां से किसी कवि को नौउम्र कह सकता हूं। सुशील कुमार शैली ऐसे ही कवि हैं, जिनकी कविताएं ई-मेल से मिलीं। इन कविताओं में एक जाहिर रोष है, परिवार और समाज के...
View Articleसत्यनारायण पटेल का उपन्यास 'गांव भीतर गांव' : ओम प्रभाकर
मुझे यक़ीन है कि पानी यहीं से निकलेगा गाँव भीतर गाँवबरसों पहले ग्वालियर रेड़ियो के निदेशक ने मुझसे पूछा था, ‘ ओम जी आपकी ये कविता क्या शासन के ख़िलाफ़ है ? मैंने कहा था, ‘ जी, नहीं ! ये कविता आज की सारी...
View Articleराष्ट्रपति भवन में सूअर - संकटग्रस्त प्रेम का आत्मसंघर्ष : उमाशंकर सिंह
अनुनाद पर अजय सिंह के कविता संग्रह के लोकार्पण समारोह की भाषा सिंह द्वारा प्रस्तुत रिपोर्ट(साभार फेसबुक) छपने के बाद इस संग्रह की कविताओं पर हमें विष्णु खरे और अजीत प्रियदर्शी के लेख हस्तक्षेप के रूप...
View Articleचन्द्र गुरूङ्ग की कविताएं
अनुनाद पर पहले कभी अनिल कार्की के अनुवादों के सहारे नेपाली कविता छपी थी। एक बड़े अंतराल के बाद अब चन्द्र गुरूङ्ग की कविताएं यहां लगा सकने का अवसर मिल रहा है। मूल से अनुवाद स्वयं कवि ने किए हैं। हिंदी...
View Articleलवली गोस्वामी की कविताएं
दख़ल प्रकाशन से आयी लवली गोस्वामी की किताब 'प्राचीन भारत में मातृसत्ता और यौनिकता (भारतीय मिथकों का पुनर्पाठ)'चर्चा में है।कवि का स्वागत और इन कविताओं के लिए आभार। नियतिसाथ चलते शायद बहुत दूर निकल आये...
View Articleसंजय कुमार शांडिल्य की कविताएं
हमें कविताओं से क्या मिलता है कोई जीडीपी में बढ़त दर्ज करता है तो कैसे करता हैजबकि हम कविता से बर्फ़ीली सर्दियों में जुराबों काकाम लेना चाहते हैंलकड़ियों और भेड़ों से भोजन मिलता है हमें कविताओं से क्या...
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